• सर्वप्रथम भूगोल शब्द का प्रयोग इरेटॉस्थेनीज, एक ग्रीक विद्वान (276-194 ई.पू.) ने किया । यह शब्द ग्रीक भाषा के दो मूल 'Geo' (पृथ्वी) 'Graphos' (वर्णन) से प्राप्त किया गया है। दोनों को एक साथ रखने पर इसका अर्थ बनता है, पृथ्वी का वर्णन।
  • भूगोल के नामकरण एवं इस विषय को प्राथमिक स्तर पर व्यवस्थित स्वरूप प्रदान करने का श्रेय यूनान के निवासियों को जाता है।
  • हिकेटियस ने अपनी पुस्तक जस पीरियोडस अर्थात 'पृथ्वी वर्णन' में सर्वप्रथम भौगोलिक तत्वों का क्रमबद्ध समावेश किया।
  • अध्ययन के लिए स्वतंत्र विषय के रूप में भूगोल को 19वीं शताब्दी में ही मान्यता मिली।
  • 20वीं शताब्दी के आरंभ में भूगोल मनुष्य और पर्यावरण के पारस्परिक संबंधों के अध्ययन के रूप में विकसित हुआ। इसकी दो विचारधाराएँ थीं-

संभववाद

इसके अनुसार मनुष्य अपने पर्यावरण में परिवर्तन करने में समर्थ है  तथा वह प्रकृतिप्रदत्त अनेक संभावनाओं को अपनी इच्छा के अनुसार उपयोग कर सकता है

निश्चयवाद:

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इसके अनुसार मनुष्य के सारे काम पर्यावरण द्वारा निर्धारित होते हैं; अतः मनुष्य को स्वेच्छापूर्वक कुछ करने की स्वतंत्रता कम है। इस विचारधारा के प्रमुख समर्थक हैं— भूगोलवेत्ता रिटर, रैटजेल (नवीन निश्चयवाद का संस्थापक), एलन सेम्पुल और हटिंगटन |

भूगोल की कुछ परिभाषाएँ :

1. "भूगोल एक ऐसा स्वतंत्र विषय है जिसका उद्देश्य लोगों को विश्व, आकाशीय पिंडों, स्थल, महासागरों, जीव-जन्तुओं, वनस्पति, फलों तथा भू-धरातल के क्षेत्रों में देखी जाने वाली प्रत्येक अन्य वस्तु

का ज्ञान प्राप्त कराना है।" स्ट्राइबो

2. "भूगोल पृथ्वी की झलक को स्वर्ग में देखने वाला आभामय विज्ञान -कलैडियस, टॉलमी